थारू समाज में दाह संस्कार: एक समाजशास्त्रीय अध्ययन
Author: डाॅ. श्याम नारायण वर्मा
DOI: https://doi.org/10.64880/theresearchdialogue.v4i3.18
सारांश:
यह शोधपत्र थारू समाज में प्रचलित दाह-संस्कार (अंत्येष्टि) की परंपराओं का समाजशास्त्रीय अध्ययन प्रस्तुत करता है। अध्ययन उत्तर प्रदेश के श्रावस्ती जनपद के चयनित थारू गाँवों में लगभग 15 वर्षों के सहभागी एवं अर्ध-सहभागी अवलोकन तथा साक्षात्कार विधि पर आधारित है। शोध में थारू जनजाति की उत्पत्ति, जनसंख्या, भौगोलिक विस्तार, आजीविका और सांस्कृतिक विशेषताओं के साथ-साथ उनके मृत्यु-संस्कारों की विस्तृत प्रक्रिया का वर्णन किया गया है। दाह-संस्कार में मृतक को स्नान कराकर, प्रतीकात्मक रूप से सजाकर, जंगल या खेत में दफनाने भोजन सामग्री अर्पण करने तथा सामूहिक सहभागिता जैसी परंपराएँ शामिल हैं। तेरह दिनों तक शोक, भरखरा जैसी रस्में और सामूहिक भोज भी महत्त्वपूर्ण हैं। निष्कर्षतः अध्ययन यह दर्शाता है कि थारू समाज के दाह-संस्कारों पर हिंदू रीति-रिवाजों का स्पष्ट प्रभाव है, फिर भी इनमें स्थानीय सांस्कृतिक विशिष्टता और सामुदायिक एकता प्रमुख रूप से परिलक्षित होती है।
मुख्य शब्द: थारू समाजए दाह-संस्कार (अंत्येष्टि) जनजातियां ।
Cite this Article:
डा. श्याम नारायण वर्मा,“थारू समाज में दाह संस्कार: एक समाजशास्त्रीय अध्ययन” The Research Dialogue, Open Access Peer-reviewed & Refereed Journal, pp.142–147. https://doi.org/10.64880/theresearchdialogue.v4i3.18
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